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गायत्री शक्तिपीठ जम्होर में तुलसी जयंती धूमधाम से मनाई गई

गायत्री शक्तिपीठ जम्होर में तुलसी जयंती धूमधाम से मनाई गई

औरंगाबाद से दिव्य रश्मि संवाददाता अरविन्द अकेला की खबर 
औरंगाबाद, 7 अगस्त। सदर प्रखंड स्थित ग्राम पंचायत जम्होर में अनुग्रह नारायण रोड स्टेशन के समीप गायत्री शक्तिपीठ के प्रांगण में साप्ताहिक पूजा पाठ एवं हवन का कार्यक्रम सुचारु पूर्वक क्रियान्वित हुआ।
औरंगाबाद जिले की महत्वपूर्ण साहित्यिक संस्था सामयिक साहित्य संवाद के तत्वावधान में भक्ति काल के अन्यतम कवि संत शिरोमणि गोस्वामी तुलसीदास जयंती समारोह धूमधाम से मनाई गई। कार्यक्रम की अध्यक्षता जम्होर पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि प्रदीप कुमार सिंह ने किया जबकि संचालन संयोजक सुरेश विद्यार्थी ने किया।
तुलसी जयंती के अवसर पर मुख्य वक्ता के रूप में पधारे सिन्हा कॉलेज के अवकाश प्राप्त प्रोफेसर डॉ रामाधार सिंह ने अपने संबोधन के क्रम में तुलसीदास के व्यक्तित्व और कृतित्व पर प्रकाश डालते हुए रामचरितमानस के प्रेरक तत्व,पहलुओं व काव्य के माध्यम से तुलसीदास की समन्वयवादी भावना को व्यक्त किया।
जनकवि गोस्वामी तुलसीदास भारत के हीं नहीं संपूर्ण मानवता तथा संसार के कवि थे उन्होंने हिंदी साहित्य में कविता की सर्वोन्मुखी उन्नति को विभूषित किया।यह महाकाब्य संपूर्ण विश्व साहित्य के अद्भुत ग्रंथों में से एक है। इस महाकाव्य में भाषा उद्देश्य,कथावस्तु,संवाद एवं चरित्र के चित्रण का बड़ा ही मोहक वर्णन है।
अध्यक्ष प्रदीप कुमार सिंह ने अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में कहा कि तुलसी के सगुण निर्गुण,ज्ञान भक्ति,शैव वैष्णव और विभिन्न मतों एवं संप्रदाय में समन्वय के उद्देश्य से अत्यंत प्रभावपूर्ण भावों की अभिव्यक्ति हुई है।
जिला गायत्री परिवार के सहट्रस्टी नवनीत कुमार,जितेंद्र कुमार,अशोक प्रसाद शौंडिक,रामध्यान बाबा व एस एन गहलौत ने तुलसीदास को सार्वकालिक एवं सार्वदेशिक कवि बताया।
सामाजिक साहित्यिक एवं धार्मिक कार्यों में विशिष्ट भूमिका निभाने वाले राणा सुनील सिंह,मधुसूदन पांडेय,नवीन कुमार,पहलवान श्रवण कुमार, गायत्री शक्तिपीठ के महिला मंडल, युवा मंडल,संरक्षण मंडल को प्रशस्ति पत्र एवं पुष्पगुच्छ देकर सम्मानित किया गया।
उपस्थित लोगों ने प्रस्ताव पारित किया कि औरंगाबाद जिले में तुलसीदास के नाम पर पुस्तकालय एवं वाचनालय का निर्माण किया जाए।

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