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भारतीय मूल भारतवासी

भारतीय मूल भारतवासी

भारत में भारतीय मूल भारतवासी ,
सर्वत्र अयोध्या मथुरा व काशी हो ।
राष्ट्र का खाकर जो बोले राष्ट्रविरोधी ,
उसका भारत में सीधे ही फाॅंसी हो ।।
भारत में जन्मना भारत का ही खाना ,
आतंकवादी का जो समर्थनकर्ता हो ।
भारत में ही पलना भारत में बढ़ना ,
भारत विरोधी बातें जो भी करता हो ।।
भारत में रह जिसे दुश्मन हो प्यारा ,
उसका भारत से देशनिकासी हो ।
सोच सदा बनना भारत का मालिक ,
क्या भारत का ऐसा कोई शासी हो ?
लेने चला है भारत रूपी नाव यह ,
पतवार का जानता कोई हाल नहीं ।‌
क्यों न कहूॅं दुश्मन का दलाल उसे ,
जो कर सके किसी का देखभाल नहीं ।।
स्वयं को किनारे ही जो डुबोने वाला ,
बीच मझधार से कैसे कोई निकासी हो ।
भारत को होगा कभी स्वीकार
नहीं भारत का कोई कभी दास या दासी हो ।।
पूर्णतः मौलिक एवं
अप्रकाशित रचना
अरुण दिव्यांश
डुमरी अड्डा
छपरा ( सारण )बिहार ।
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