यम यमुना सा पावन, भाई बहन का प्यार
कार्तिक मास शुक्ल द्वितीया,तिथि अद्भुत अनूप विशेष ।
सृष्टि रज रज विमल प्रवाह,
भाई दूज खुशियां अधिशेष ।
परस्पर मंगल कामना अथाह,
शीर्ष वंदित परंपरा संस्कार ।
यम यमुना सा पावन, भाई बहन का प्यार ।।
भाई दूज पौराणिक कथा,
अलौकिकता परम अहसास ।
परम लोक आस्था विश्वास,
जन आभा अति हर्ष उल्लास ।
असीम शुभ कामना उर धर,
स्वसा प्रदत्त अप्रतिम उपहार ।
यम यमुना सा पावन, भाई बहन का प्यार ।।
नेह अनुबंध मृदुल भाव ,
दृढ़ संकल्प रक्षा वचन ।
आन बान शान अभिवृद्धि,
हर पल मुस्कान जतन ।
विपरित काल ढाल बन,
दिशा विमुख कंटक बहार ।
यम यमुना सा पावन, भाई बहन का प्यार ।।
भ्राता भगिनी दिव्य रिश्ता,
देवलोक नित्य हर्षित गर्वित ।
निश्चल प्रेम अर्थ परिभाषा,
अंतर बिंदु दर्शित द्रवित ।
पुनीत बेला अनुपस्थिति भान,
दोऊ नयनन अविरल अश्रु धार ।
यम यमुना सा पावन, भाई बहन का प्यार ।।
कुमार महेंद्र
(स्वरचित मौलिक रचना)
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