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वर्ष 2025 अन्तराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष के रूप में मनाया जायेगा माननीय मंत्री सहकारिता डा0 प्रेम कुमार सहकारिता विभाग की योजनाएँ एवं उपलब्धियाँ

वर्ष 2025 अन्तराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष के रूप में मनाया जायेगा माननीय मंत्री सहकारिता डा0 प्रेम कुमार सहकारिता विभाग की योजनाएँ एवं उपलब्धियाँ

पटना, 05 मार्च 2025:-सहकारिता विभाग द्वारा सूचना एवं जन संपर्क विभाग के सहयोग से सूचना भवन के संवाद कक्ष में आयोजित प्रेस.काॅन्फ्रेंस को माननीय मंत्रीए सहकारिता विभाग बिहार डाॅ0 प्रेम कुमार द्वारा संबोधित किया गया। इस अवसर पर सचिवए सहकारिता विभाग श्री धर्मेन्द्र सिंहए निबंधकए सहयोग समितियाँए श्रीमति इनायत खानए अपर सचिवए सहकारिता विभाग श्री अभय कुमार सिंहए अपर निबंधकए सहयोग समितियाँ श्री प्रभात कुमारए प्रबंध निदेशकए बिहार राज्य सहकारी बैंक श्री मनोज कुमार सिंहए प्रबंध निदेशकए बिहार राज्य भंडार निगमए डा0 गगन एवं सहकारिता विभाग के अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।
अधिप्राप्ति: खरीफ विपणन मौसम 2024.25 अन्तर्गत प्राप्त लक्ष्य 45.00 लाख मे॰टन के विरूद्ध निर्धारित अवधि तक कुल 6732 समितियों के माध्यम से 4.63 लाख किसानों से 39.23 लाख मे॰टन धान की अधिप्राप्ति किया गया तथा किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य के रूप में 9120 करोड़ रूपये उनके खाते में भुगतान किया जा चुका है। अधिप्राप्त धान के विरूद्ध राज्य खाद्य निगम को 9.46 लाख मे॰टन ;35.55ःद्ध चावल की आपूर्ति की जा चुकी है। समितियों के आर्थिक सुदृढीकरण के उद्देश्य से प्रबंधकीय अनुदान मद में विगत वर्ष 141 करोड़ रूपए का भुगतान किया गयाए जबकि इस वर्ष अबतक 149 करोड़ की राशि का भुगतान किया जा चुका है।
ऽ गेहूँ अधिप्राप्ति कार्यक्रम अप्रैल माह से आरंभ होना है। गत वर्ष निबंधित
/आवेदित सभी किसानों को इस वर्ष गेहूँ बिक्री हेतु मान्य कर दिया गया है। इस वर्ष गेहूँ बिक्री हेतु अबतक 24324 किसानो द्वारा निबंधनध्आवेदन किया गया है। गेहूँ का न्यूनतम समर्थन मूल्य सरकार द्वारा 2275/-. प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 2425/-. प्रति क्विंटल कर दिया गया है ताकि अधिक.से.अधिक किसान इसका लाभ प्राप्त कर सके।
सहकारी समितियों में भंडारण क्षमता का सृजन: राज्य योजनान्तर्गत विभाग द्वारा 200 एम॰ टी॰ 500 एम॰ टी॰ एवं 1000 एम॰ टी॰ क्षमता के गोदाम निर्माण की स्वीकृति दी जाती है। राज्य के सहकारी समितियों में 7056 गोदाम निर्माण का कार्य पूर्ण हो चुका हैए जिससे 15.67 लाख एम॰टी॰ भंडारण क्षमता का सृजन हो चुका है। इसके अतिरिक्त वर्ष 2023.24 में 169 करोड़ की लागत से 325 गोदाम निर्माण का कार्य प्रगति में हैए जिससे 2ण्36 लाख एम॰टी॰ भंडारण क्षमता का सृजन हो रहा है। वर्ष 2024.25 में 259 गोदामए जिसकी लागत 147 करोड़ हैए का चयन कर गोदाम निर्माण हेतु अग्रेतर कार्रवाई की जा रही है। इससे 2ण्05 लाख एम॰टी॰ भंडारण क्षमता का सृजन हो सकेगा।
बिहार राज्य सब्जी प्रसंस्करण एवं विपणन योजनारू. योजनान्तर्गत राज्य के 20 जिलों के 302 प्रखंडो में प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समितियों का गठन किया जा चुका हैए जिसमें 44ए000 से अधिक सब्जी उत्पादक किसान सदस्य बन चुके हैं। पटनाए तिरहुत एवं मिथिला सब्जी संघों द्वारा योजना के प्रारंभ ;मार्च 2019द्ध से अब तक 88000 एम॰टी॰ के सब्जी व्यवसाय से 156 करोड़ रूपए का टर्नओवर प्राप्त किया गया है।
प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समिति ;च्टब्ैद्धए सब्जी संघ एवं वेजफेड में मानव संसाधन उपलब्ध कराने हेतु 14ण्82 करोड़ रूपये योजना की स्वीकृति प्रदान करते हुए 437 पदों पर नियुक्ति प्रक्रियाधीन है। प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समिति ;च्टब्ैद्धए सब्जी संघ एवं वेजफेड में लेखा प्रणाली सशक्त करने के लिए सनदी लेखाकार ;ब्।द्ध की योजना हेतु 2ण्50 करोड़ रूपये की स्वीकृति प्रदान की गई हैए इस योजना अन्र्तगत सनदी लेखाकार हेतु एजेंन्सी का चयन करते हुए सभी संघो में कुल.06 मानव बल एवं सभी कार्यरत 20 जिलों में कुल.20 मानव बल को भेजा जा चुका है।
वर्ष 2024-25 में तीनों संघ से आच्छादित 20 जिलों के 302 ;च्टब्ैद्धए में कुल 1480 एकड़ में आलू एवं 1480 एकड़ में टमाटर की खेती को प्रोत्साहित करने के लिए क्रमशः 3ण्99 करोड़ एवं 4ण्73 करोड़ की योजना हेतु राशि निर्गत की जा चुकी है। इस योजना अन्तर्गत अबतक तीनों सब्जी संघो के 70 ;च्टब्ैद्धए को कुल 7ण्79 लाख किलोग्राम आलू के बीज एवं तीनों संघों के 19 ;च्टब्ैद्धए को कुल 4ण्68 लाख टमाटर के पौधे की आपूर्ति की गई हैए जिसमें क्रमशः 3ण्36 करोड़ एवं 1ण्04 करोड़ की राशि संघध्;च्टब्ैद्धए द्वारा खर्च की जा चुकी है। साथ हीए तीनों सब्जी संघों के माध्यम से भ्न्स् ;भ्पदकनेजंद न्दपसपमअमत स्जकण्द्ध को टमाटर की आपूर्ति की जा रही है।


ऽ आगामी वित्तीय वर्ष 2025.26 में प्रस्तावित योजनाएँ रू.
;पद्ध राज्य के सभी 38 जिलों के 534 प्रखंडों में ;च्टब्ैद्ध का गठन कर संघ से संबद्ध किया जाएगा एवं कुल 09 संघों का गठन कर योजना का विस्तार पूरे राज्य में किया जाएगा। साथ ही प्रत्येक ;च्टब्ैद्ध में कम से कम 200 सदस्य बनाने का लक्ष्य है एवं जिसमें 44000 से अधिक सदस्य जोड़े गए हैं। उसे बढ़ाकर 2 लाख से अधिक सदस्य बनाने का लक्ष्य हैए जिसके लिए विभिन्न स्तर पर सदस्यता वृद्धि कार्यक्रम चलाया जाएगा।
;पपद्ध वेजफेड एवं काॅम्फेड के आपसी सहयोग से सुधा के तर्ज पर संयुक्त रूप से राज्य के विभिन्न प्रखंडों में तरकारी आउटलेट खोले जानेए प्याज उत्पादन करने वाले प्रखंडों में प्याज भंडारण हेतु गोदाम का निर्माण किया जानाए जिला स्तर पर हबध्डवजीमत ूंतमीवनेम का निर्माण कर राज्य से बाहर सब्जियों का निर्यात किया जानाए ;च्टब्ैद्ध के सभी सदस्य किसान को सब्जी की खेती हेतु कौशल विकास क्षमतावर्द्धन के लिए प्रशिक्षण प्रदान किया जानाए जन जन तक योजना का प्रचार प्रसार किया जाने के साथ ही सब्जी उत्पादकों को बाजार सुनिश्चित करने के उद्देश्य से विभिन्न सरकारी संस्थानों में सब्जी आपूर्ति में वेजफेड से जुड़े सब्जी समितियों को प्राथमिकता दिलाया जाना प्रस्तावित है।
बिहार राज्य फसल सहायता योजना रू ष्ष्बिहार राज्य फसल सहायता योजनाश् राज्य सरकार द्वारा खरीफ 2018 मौसम से क्रियान्वित किया गया है। इस योजना अन्तर्गत प्राकृतिक आपदा यथा.बाढ़ए सुखाड़ए तुषारापातए आदि के फलस्वरूप फसल उत्पादन में ह्रास होने की स्थिति में आवेदक किसानों को सहायता राशि का भुगतान किया जाता है। यह योजना निःशुल्क है। इसके लिए किसानों द्वारा कोई प्रीमियम अथवा शुल्क का भुगतान नहीं करना है।
यह योजना पूर्णरूपेण राज्य सरकार की निधि से संचालित की जा रही है। इस योजनान्तर्गत खरीफ 2022 मौसम तक 29,05,476 लाभुक किसानों को 1867ण्58 करोड़ की सहायता राशि का भुगतान किया गया है।
रबी 2022.23 मौसम में उपज दर आंकड़ों के आधार पर 1520 योग्य ग्राम पंचायतों के 4ए70ए030 आवेदक किसानों का सत्यापन जिला स्तरीय समन्वय समिति ;क्स्ब्ब्द्ध के माध्यम से करा लिया गया है। क्स्ब्ब् द्वारा स्वीकृत लाभुक किसानों को सहायता राशि का भुगतान अगले दो.तीन दिन के अन्दर कर दिया जाएगा।
उपज दर आंकड़ों के आधार पर खरीफ 2023 मौसम के 1662 योग्य ग्राम पंचायतों के 2ए70ए365 आवेदक किसानों एवं रबी 2023.24 मौसम के 1218 योग्य ग्राम पंचायतों के 1ए10ए660 आवेदक किसानों का भी सत्यापन की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। इन मौसमों के स्वीकृत लाभुक किसानों का भी सहायता राशि का भुगतान शीघ्र किया जाएगा। इसके लिए वित्तीय वर्ष 2024.25 में खरीफ 2023 मौसम हेतु 205 करोड़ एवं रबी 2023.24 मौसम हेतु 92ण्60 करोड़ राशि की स्वीकृति की जा चुकी है।
उपज दर आंकड़ों के आधार पर खरीफ 2024 मौसम में योग्य ग्राम पंचायतों के चयन की कार्रवाई प्रक्रियाधीन है। इस मौसम के योग्य ग्राम पंचायतों के आवेदक किसानों का सत्यापन की कार्रवाई शीघ्र प्रारंभ की जाएगी। इस मौसम के लिए भी वित्तीय वर्ष 2024.25 में 49ण्10 करोड़ की राशि स्वीकृत है।
रबी 2024.25 मौसम में योजना के क्रियान्वयन के संबंध में विभागीय अधिसूचना संख्या.342 दिनांक.14ण्01ण्2025 निर्गत करते हुए ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया प्रारम्भ की गई हैए जिसकी अंतिम तिथि 31 मार्च 2025 निर्धारित है। इस मौसम में सभी श्रेणी ;रैयतए गैर.रैयत एवं आंशिक रूप से रैयत तथा गैर.रैयतद्ध किसानों को आवेदन के समय आवेदित भूमि का जमाबन्दी संख्या एवं ळमव.ब्ववतकपदंजमे के साथ वार्ड सदस्य एवं कृषि समन्वयक द्वारा प्रतिहस्ताक्षरित स्व.घोषणा पत्र करना आवश्यक है। आवेदन ई.सहकारी मोबाइल ऐप एवं ई.सहकारी पोर्टल पर उपलब्ध लिंक के माध्यम से किया जा सकता है। इस मौसम में योजना का लाभ लेने हेतु अधिक.से.अधिक किसान आवेदन कर सकते है।
इसके अतिरिक्त योजना के प्रारंभ से अब तक 28ण्41 लाख किसानों को 1822ण्67 करोड़ राषि का भुगतान किया गया है। छप्ब् के तकनीकी सहयोग से विकसित बिहार राज्य फसल सहायता योजना पोर्टल को कम्प्यूटर सोसाइटी आॅफ इंडिया के द्वारा म.ळवअमतदंदबम के लिए ।ूंतक व िम्गबमससमदबम प्रदान किया गया। रबी 2022.23 का भुगतान किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री हरित कृषि संयंत्र योजनारू. राज्य के लघु एवं सीमांत कृषकों की आधुनिक कृषि उपकरणों तक पहुँच सुनिश्चित करने के लिए क्रियान्वित मुख्यमंत्री हरित कृषि संयंत्र योजनान्तर्गत अब तक 2976 पैक्सों में कृषि संयंत्र बैंक की स्थापित किया जा चुका है। प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समितियों में भी कृषि संयंत्र बैंक स्थापित किया जा रहा है। वर्ष 2022.23 में सर्वाधिक क्रयादेश हेतु सहकारिता विभाग को जेम के द्वारा अवार्ड दिया गया।
बैकिंगः. बिहार राज्य सहकारी बैंक अपने एवं जिला केन्द्रीय सहकारी बैंक के माध्यम से मूलतः किसान को वित्तीय समावेशन ;थ्पदंदबपंस प्दबसनेपवदद्ध का कार्य करता रहा है। इसी दिशा में निम्न उपलब्धियाँ हैं .
ऽ धान अधिप्राप्ति 2024.25 में सहकारी बैंक के माध्यम से कुल 4ण्63 लाख किसानों का 9,120 करोड़ रूपये भुगतान किया गया है।
ऽ ।ददनंस ब्तमकपज च्संद 2024.25 में ज्ंतहमज 8619ण्20 करोड़ रूपये के विरूद्ध शत प्रतिशत लक्ष्य प्राप्त कर लिया गया है।
ऽ वित्तीय वर्ष 2023.24 में कुल 83064 कृषकों को 247ण्94 करोड़ रु० का किसान क्रेडिट कार्ड ऋण वितरित किया गया है। वित्तीय वर्ष 2024.25 में दिनांक 03ण्02ण्2025 तक कुल 46,259 कृषकों को 171ण्58 करोड़ रु० का किसान क्रेडिट कार्ड ऋण वितरित किया गया है।
ऽ महिला सशक्तिकरण के उदेष्य से संयुक्त देयता समूह ;श्रस्ळद्ध की महिलाओं के माध्यम से बैंक के दरभंगाए सहरसाए बिहटए मोतिहारी शाखा एवं जिला केन्द्रीय सहकारी बैंक मगधए बेगुसरायए गोपालगंज एवं पाटलिपुत्र द्वारा 13ए175 सदस्यों को 52ण्321 करोड़ ऋण विभिन्न कृषि संबद्ध गतिविधियों के लिए दी है जिनसें महिलाओं को आर्थिक बल मिल रहा है।
ऽ बैंक द्वारा स्वयं सहायता समूह ;ैभ्ळद्ध को ऋण की सुविधा दी जा रही है। वर्तमान में 109 समूह को 1ण्47 करोड़ रूपये दिया गया है।
ऽ वर्तमान में भारत सरकारध्राज्य सरकार की योजना श् च्।ब्ै ंे डैब् ;डनसजप ैमतअपबम ब्मदजमतद्धश् को विकसित करने हेतु कुल 05 पैक्स ;03 बेतियाए 01 गोपालगंज 01 सिवानद्ध की परियोजना चल रही है।
ऽ सभी सहकारी बैंकों के ब्ठै ;ब्वतम ठंदापदह ैवसनजपवदद्ध न्चहतंकंजपवद का कार्य करना।
ऽ सहकारी बैंकों के माध्यम से बिहार के ग्रामीण क्षेत्रों में ैभ्ळए श्रस्ळ एवं ज्ञब्ब् ऋण विस्तार करने का प्रास्ताव है।
ऽ श्प्दजमतदंजपवदंस ल्मंत व िब्व.वचमतंजपअम 2025श् में वित्तीय समावेशनए प्रचार प्रसारए विभिन्न बैंकिंग पाॅलिसीए डोर स्टेप बैंकिंगए ऋणए न्च्प् एवं छमज ठंदापदह लागू करना प्रस्तावित है।
बिहार राज्य भंडारण निगम द्वारा सहकारिता विभागए बिहार सरकार से प्राप्त अनुदान राशि रू0 12,51,14,400ध्. से तीन स्थानों यथा मुरलीगंज ;मधेपुराद्धए मालीघाट ;मुजफ्फरपुरद्धए मसौढ़ी ;पटनाद्ध में कुल 10,500 मे0टन क्षमता का गोदाम निर्माण का कार्य कराया जाएगा।
ब्ैब्ए ;ब्वउउवद ैमतअपबम ब्मदजतमद्ध . बिहार के ग्रामीण क्षेत्रों में 300 प्रकार की सेवाएँ पैक्स द्वारा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से लगभग 5,841 पैक्सों में काॅमन सेवा केन्द्र की स्थापना की जा चुकी है, जिसमें से 3116 समितियाँ क्रियाशील है। अभी तक पैक्सों द्वारा 6 करोड़ से अधिक का व्यवसाय किया गया है।
थ्च्व् ;थ्ंतउमत च्तवकनबमते व्तहंदप्रंजपवदद्ध राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम के सहयोग से राज्य के 21 जिलों के 100 चयनित पंचायतों में आवश्यक बाजार लिंकेज प्रदान कर उनकी उपज के उचित मूल्य एवं कृषि इनपुट की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के उद्देश्य से पंचायत स्तरीय 100 किसान उत्पादक संगठन ;थ्च्व्द्ध का गठन किया गया है। सहकारी बैंक के स्तर पर 15 ब्ठठव् ;ब्सनेजमत ठंेमक ठनेपदमेे व्तहंदपेंजपवदद्ध का गठन किया गया हैए इनमें विशेषज्ञ पदाधिकारियों की नियुक्ति की जा रही है। जिनके द्वारा थ्च्व् के माध्यम से कृषि क्षेत्र में स्थानीय आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए व्यवसाय वृद्धि की योजना थ्च्व् एवं ब्ठठव् को बनाना एवं क्रियान्वित किया जाना है। छब्क्ब् के सहयोग से प्रबंधकीय सहायता दी जायेगी।
पेट्रोल पंप आउटलेट. पैक्स द्वारा पेट्रोल एवं डीजल आउटलेट ग्रामीण क्षेत्रों में स्थापित किया जा रहा है। जिससे पैक्स के मुनाफे में वृद्धि होगी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के नये अवसर सृजित होगी। बिहार राज्य के लिए व्दसपदम आवेदन हेतु 12 जिलों में 16 स्थान चिन्हित किया गया है। अभी तक 12 समितियों द्वारा आवेदन दिया गया हैए जिसमें 5 पैक्सों को संबंधित एजेंसी का अनुमोदन प्राप्त है। अनापत्ति प्रमाण.पत्र लेने की कार्रवाई की जा रही है। बाल्मीकि नगर पैक्स ;पं0 चंपारणद्ध में पेट्रोल पंप शीघ्र खुलने की संभावना है।
जन औषधि केन्द्र की स्थापना . इस योजना के तहत राज्य के चयनित 190 पैक्सों में से 120 पैक्सों में जन औषधि केन्द्र की स्थापना हेतु स्वीकृति प्रदान की गई है। वर्तमान में 18 पैक्सों को ड्रग लाइसेंस और 15 को स्टोर कोड तथा 14 पैक्सों में जन औषधि केन्द्र का संचालन प्रारंभ हो गया है।
पैक्स कम्प्यूटराइजेशन . योजनान्तर्गत प्रथम चरण में राज्य के 4,477 पैक्सों को कम्प्यूटरीकृत किया जा रहा है। द्वितीय चरण में 1601 पैक्सों में कम्प्यूटरीकरण हेतु राज्य स्तरीय अनुश्रवण एवं कार्यान्वयन समिति ;ैस्डप्ब्द्ध द्वारा अनुमोदित कर प्रस्ताव सहकारिता मंत्रालयए भारत सरकार को स्वीकृति हेतु प्रेषित किया गया है। तृतीय चरण में शेष सभी पैक्सों का कम्प्यूटरीकरण किया जाना प्रस्तावित है। अभी तक 4,368 पैक्सों को ळव्.स्पअम किया जा चुका है। पैक्सों में कम्प्यूटरीकरण के उपरान्त पारदर्शिता एवं कार्यशैली में गुणवत्ता आयेगी।
मुख्यमंत्री आदर्श पैक्स प्रोत्साहन योजनारू. इस योजना के तहत राज्य के अच्छे कार्य करने वाले पैक्सों को राज्य स्तर पर प्रथम पुरस्कार के रूप में 15 लाखए द्वितीय पुरस्कार.10 लाख रूपये एवं तृतीय पुरस्कार.7 लाख रूपये दिया जाता है। जिला स्तर पर प्रथम पुरस्कार.5 लाखए द्वितीय पुरस्कार.3 लाख एवं तृतीय पुरस्कार.2 लाख रूपये दिया जाता है। वर्ष 2024.25 में राज्य के सभी पैक्सों से आवेदन आमंत्रित किया गया है। आवेदन की समीक्षा के उपरान्त सर्वश्रेष्ठ पैक्सों को शीघ्र पुरस्कार वितरण किया जायेगा।
नियुक्तियाँ रू.
वर्ष 2024.25 में सहकारिता विभाग अंतर्गत 07 सहायक निबंधकए 05 निम्नवर्गीय लिपिक एवं 04 कार्यालय परिचारी की नियुक्ति की गई है। 29 सहायक निबंधकए 04 जिला अंकेक्षण पदाधिकारीए 133 निम्नवर्गीय लिपिक सहित कुल 234 पदों पर नियुक्ति प्रक्रियाधीन है। 502 सहकारिता प्रसार पदाधिकारी एवं 32 अंकेक्षकों सहित कुल 572 पदों पर नियुक्ति हेतु अधियाचना बिहार लोक सेवा आयोगध्बिहार कर्मचारी चयन आयोग से की गई है।
प्रोन्नतिरू. विभाग अन्तर्गत 167 राजपत्रित पदाधिकारियों एवं 1,094 अराजपत्रित पदाधिकारियोंध्कर्मचारियों को सामान्य प्रशासन विभाग की अधिसूचना संख्या 19,300 दिनांक 13ण्10ण्2023 के आलोक में उच्चतर प्रभार प्रदान किया गया है।
प्रशिक्षणरू. सहकारिता विभाग अन्तर्गत कार्यरत 910 सहकारिता प्रसार पदाधिकारियों को प्रत्यास्मरण पाठ्यक्रम संबंधी प्रशिक्षण कराया जा रहा है। नव.निर्वाचित पैक्स अध्यक्षों को प्रमंडल स्तर पर प्रशिक्षण उपलब्ध कराया जा रहा है। राजपत्रित पदाधिकारियों को भारतीय प्रबंध संस्थान, इन्दौर में प्रबंधन कौशल एवं ज्ञानवर्द्धन हेतु प्रशिक्षण कराया जा रहा हैं। सहकारिता के क्षेत्र में विकसित राज्यों का अध्ययन भ्रमण हेतु पदाधिकारियों को राज्य के बाहर केरलए तामिलनाडु एवं आन्ध्रप्रदेश भेजा गया।
ऽ प्रशिक्षण हेतु अधिसंरचना का निर्माणरू. वर्ष 2025.26 में राज्य अंतर्गत पदाधिकारियों एवं कर्मियों के गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण हेतु सहकारिता प्रशिक्षण केन्द्रए पूसा को उत्कृष्ट केन्द्र ;ब्मदजतम व िम्गबमससमदबमद्ध बनाने के लिए प्रशासनिक भवनए पुस्तकालयए स्मार्ट क्लास रूमए ब्वउउंद त्ववउ, जिमए प्राचार्य कक्षए फेकल्टी मेंबरर्स के लिए आवासन की सुविधा हेतु अत्याधुनिक अधिसंरचना का निर्माण प्रस्तावित है। साथ ही दक्षिण बिहार अंतर्गत गया जिला में सहकारिता प्रशिक्षण एवं शोध संस्थान का निर्माण प्रस्तावित है।


प्रचार.प्रसाररू. सहकारिता विभाग द्वारा संचालित योजनाओं के संबंध में ग्रामीण किसानों को जानकारी उपलब्ध कराने हेतु सहकारी चैपाल एवं एल॰ई॰डी॰ प्रचार वाहन रथ के माध्यम से प्रचार प्रसार कराया जा रहा है। उल्लेखनीय है कि सहकारी चैपाल कार्यक्रम अन्तर्गत नुक्कड़.नाटक के माध्यम से स्थानीय भाषा में प्रत्येक पैक्स एवं प्रखण्ड स्तर पर विभागीय योजनाओं के संबंध में जानकारी उपलब्ध कराया जा रहा है। विभागीय योजनाओं की जानकारी एवं शिकायत निवारण हेतु प्टत्ै ब्ंसस ब्मदजतम ;सुगमद्ध संचालित किया जा रहा हैए जिसका ज्वसस थ्तमम छवण् 1800 1800 110 है।
राज्य एवं प्रमंडल स्तर पर परिसंघ एवं संघ का गठनरू.
1ण् सहकारी क्षेत्र में वस्तुओं और सेवाओं के विपणन हेतु प्रमंडल एवं राज्य स्तर पर क्रमशः संघ एवं परिसंघ का गठन किया जा रहा है। प्रमंडल स्तर पर गठित होने वाले संघ के सदस्य प्राथमिक समितियाँ यथा.पैक्स एवं अन्य समितियाँ जो विपणन का कार्य करती हो तथा राज्य स्तर पर गठित होने वाले परिसंघ में प्रमंडल स्तरीय संघ एवं प्रखण्ड स्तर पर गठित व्यापार मंडल सदस्य होगीए इनके माध्यम से सहकारी समितियों द्वारा उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं का विपणन किया जायेगा। संघ एवं परिसंघ के गठन हेतु उपविधियाँ अनुमोदित कर अधिसूचित कर दी गयी है। प्रमंडल स्तरीय संघ के गठन हेतु व्दसपदम आवेदन प्राप्त किये जा रहे है।
2ण् मत्स्यपालन के क्षेत्र में प्राथमिक सहकारी समितियों को बेहतर तकनीकी सहयोग एवं इनपुट उपलब्ध कराने तथा नेतृत्व प्रदान करने के उद्देश्य से प्रमंडलध्जिला स्तर पर संघ एवं राज्य स्तर पर परिसंघ का गठन किया जाएगा। इसके लिए उपविधियाँ स्वीकृत की गई है।
3ण् शहद उत्पादन एवं विपणन के क्षेत्र में राज्य अंतर्गत 145 प्राथमिक समितियाँ प्रखंड स्तर पर गठित की गयी है। शहद प्रसंस्करण सुविधाएँ उपलब्ध कराने उनकी ब्रांडिंग पैकेजिंग तथा मूल्य वर्धित उत्पादों को तैयार करने एवं उनके विपणन में सहयोग करने के उद्देश्य से राज्य स्तरीयए शहद प्रसंस्करण एवं विपणन संघ का गठन किया जायेगा। इसके लिये उपविधियाँ स्वीकृत की गयी है तथा संघ के गठन के लिए अधिसूचना जारी कर दी गई है।
4ण् बुनकर सहयोग समितियों के लिये अभी राज्य अंतर्गत कुल 4 बुनकर संघ गठित है। प्राथमिक बुनकर समितियों को कच्चा माल उपलब्ध कराना तथा उनके द्वारा तैयार मूल्यवर्द्धित उत्पाद को उचित मूल्य दिलाने हेतु बुनकर संघों द्वारा कार्य किया जायेगा। राज्य स्तर पर बुनकर परिसंघ का गठन किये जाने की योजना है।
सहकारिता में सहकाररू.
ष्ष्सहकारिता में सहकारश् योजना भारत सरकार की महत्वकांक्षी पहल हैए जिसे राज्य सरकार द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई है। उक्त योजना का मुख्य उद्देश्य विभिन्न प्रकार की सहकारी समितियों के बीच समन्वय स्थापित करते हुए सभी प्रकार की समितियों का सर्वांगीण विकास करना हैं। इस योजना के तहत सभी सहकारी समितियों एवं उनके सदस्यों का खाता सहकारी बैंकों में खुलवाना है। साथ ही दुग्ध सहकारी समितियोंध्अन्य सहकारी समितियों को बैंक मित्र के रूप में विकसित कर संबंधित किसानोंध्सदस्यों को डोर स्टेप बैंकिंग की सुविधा उपलबध कराना है। अगले एक वर्ष में राज्य सहकारी बैंक एवं जिला सहकारी बैंकों के माध्यम से दुग्ध एवं अन्य सहकारी समितियों को 1500 माईक्रों ए॰टी॰एम॰ उपलब्ध कराया जाना है।
अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष 2025 ;प्ल्ब्. 2025द्ध
संयुक्त राष्ट्रसंघ द्वारा वर्ष 2025 को अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष के रूप में घोषित किया गया है। इस अवसर पर राज्यए जिला एवं प्रखंड स्तर पर अनेक कार्यक्रम प्रस्तावित है। इस संबंध में राज्य स्तर पर माननीय मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में राज्य शीर्ष समिति का गठन किया गया हैए जिसका उद्देश्य उच्च स्तर पर राज्य स्तरीय कार्यक्रमों का अनुश्रवण एवं मार्गदर्शन प्रदान करना है। इसी तरह मुख्य सचिवए बिहार की अध्यक्षता में राज्य सहकारी विकास समिति एवं जिला पदाधिकारी की अध्यक्षता में जिला सहकारी विकास समिति गठित हैए जिसका उद्देश्य अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष से संबंधित कार्यक्रमों का क्रियान्वयन एवं अनुश्रवण किया जाना है। सहकारी समितियों के नेतृत्व में वृक्षारोपण अभियानए युवा जागरूकता अभियानए कौशल विकास एवं महिला सशक्तिकरण पर सहकारी सम्मेलनए पैक्स सदस्यता कार्यशालाएँए सेमिनार इत्यादि का आयोजन किया जाना है। इस संबंध में विभाग द्वारा प्रभावी कार्यान्वयन हेतु रूपरेखा एवं मानक संचालन प्रक्रिया ;ैव्च्द्ध तैयार कर सभी क्षेत्रीय पदाधिकारियों को उपलब्ध कराया गया है। पूरे वर्ष में विभिन्न स्तरों पर विभिन्न प्रकार के सहकारी समितियों के सदस्यों एवं पदधारकों के प्रशिक्षणध्कार्यशाला के लिए वार्षिक कैलेण्डर तैयार किया गया है।
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